LUCKNOW : यूपी सरकार के मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार तिवारी ने धान खरीद की स्थिति पर एक हाई लेवल मीटिंग की। इस मीटिग में खाद्य, पीसीएफ, यूपीएग्रो,यू.पी.एस.एस., यू.पी.पी.सी.यू., एसएफसी, कर्मचारी कल्याण निगम, एनसीसीएफ, नेफेड, मण्डी परिषद, एफसीआई आदि विभागों के अधिकारियों ने भाग लिया।
बैठक को संबोधित करते हुए मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार तिवारी ने कहा कि जिन क्रय केन्द्रों में किसान धान लेकर आ रहे हैं, उनको चालू रखा जाये तथा जिन केन्द्रों में किसान नहीं आ रहे हैं, उन्हें जिलाधिकारी की संस्तुति पर बन्द करने पर विचार किया जा सकता है।
उन्होंने कहा कि धान क्रय केन्द्रों में किसानों को किसी भी प्रकार की कठिनाई नहीं होनी चाहिये तथा सही तौल निर्धारित मूल्य पर क्रय और समय से भुगतान सुनिश्चित कराया जाये। उन्होंने कहा कि धान क्रय केन्द्रों का आकस्मिक निरीक्षण किया जाये तथा यदि कहीं पर कोई अनियमितता पाई जाती है तो दोषियों के विरुद्ध सख्त कार्यवाही की जाये।
उन्होंने निदेशक मण्डी परिषद को जनपद मिर्जापुर, चन्दौली एवं बलिया में अतिरिक्त क्रय केन्द्र खोलने के निर्देश दिये। इससे पूर्व बैठक में बताया गया कि इस वर्ष कुल 4,356 धान क्रय केन्द्र स्थापित किये गये हैं तथा 16 दिसम्बर, 2020 तक 375.65 लाख कुन्तल धान की खरीद की गई है।
बैठक में यह भी बताया गया कि किसानों की समस्याओं के निराकरण हेतु मुख्यालय स्तर पर भी कण्ट्रोल रूम बनाया गया है तथा प्राप्त शिकायतों का निस्तारण त्वरित गति से कराया जा रहा है। सभी केन्द्रों में पारदर्शी खरीद सुनिश्चित कराने व किसानों की सुविधा के लिये नोडल अधिकारियों की तैनाती की गई है।
छोटे किसानों को खरीद में वरीयता दिये जाने के निर्देश दिये गये हैं। इसके अतिरिक्त अब तक कुल 35 एफआईआर, 33 निलंबन, 18 को प्रतिकूल प्रविष्टि, 71 को चेतावनी व 389 कर्मचारियों के विरुद्ध कारण बताओ नोटिस निर्गत किये गये हैं। इसके अलावा 53 मिलर/ठेकेदार को नोटिस तथा 03 कर्मचारियों को जेल भेजा गया है।